Thursday 26 June 2014

गांवों से निकलने में मुसीबत झेल रहे नागरिक

सिद्धार्थनगर : शोहरतगढ़ तहसील क्षेत्र के सिसवा-बसहिया के चम्पापुरमार्ग पर पुल निर्माण की गड़बड़ी से पानी का बहाव रुक गया है। जिससे आधा दर्जन गांवों के लोगों का रास्ता बंद हो चुका है। लोग जल-जमाव के बीच आवागमन के लिए बाध्य हैं।
पुल के निर्माण कार्य को ठेकेदार ने समय से नहीं शुरू कराया, जिससे विकराल स्थिति उत्पन्न हो गयी है। सड़क को पूरी तरह काट दिया गया है। आवागमन के लिए बाईपास भी नहीं बनाया, जिससे राहगीरों को गड्ढों में होकर गुजरना पड़ रहा है। सम्पर्क मार्ग के लिए बनाये जा रहे पुल के निर्माण में काफी अनियमितता बरती जा रही है। नींव में दोयम दर्जे का ईट डालकर निर्माण किया जा रहा है, जो अभी से भसक कर गिर रहे हैं। यही हाल प्रतापपुर-इटहिया मार्ग पर बन रहे पुल का भी है, जिसमें चारो तरफ गढ्डा खोद कर सामग्री गिरा दिया गया है। आवागमन पूरी तरह बंद है। इसमें भी मानक को ताक पर रखकर कार्य करवाया जा रहा है। बाला नगर, कचरियहवा, इटहिया, फुलवरिया, कोम्हरवा, तौलियहवा आदि गांवों का रास्ता पूरी तरह से ठप हो गया है।
बता दें कि बाढ़ की कटान को रोकने हेतु इस कछार क्षेत्र में जगह-जगह गिट्टी की बोरी डालना एवं आवागमन हेतु पुल का निर्माण कराया जाना है, परन्तु कथित ठेकेदार केवल पुलों का निर्माण करा रहा है वह भी मानक के विपरीत। कटान स्थल पर कहीं भी गिट्टी भरकर बोरी नहीं डाली गई है, जबकि बसहिया-सिसवा मार्ग काफी महत्वपूर्ण है। इस मार्ग से दर्जनों गांवों के लोग बढ़नी, ढेबरुआ, इटवा आते-जाते हैं। अभिषेक श्रीवास्तव, अजय सिंह, पप्पू सिंह पप्पू राम, डा. रामतेज मौर्य, निसार अहमद चौधरी, पुन्नवासी निषाद, जुगन यादव, छोटू पासवान, बरसाती, शौकत अली आदि क्षेत्रवासियों का कहना है कि विभागीय मिलीभगत से पुल का निर्माण सही ढंग से नहीं हो रहा है। अगर इसी तरह मानक के विपरीत पुल का निर्माण कराया गया तो बरसात भी झेल नहीं पायेगा और ध्वस्त हो जायेगा। इन लोगों ने मानक के विपरीत कराये जा रहे कार्यो की जिलाधिकारी से जांच की मांग की है। इस संबंध में लोक निर्माण विभाग के जेई एके सिंह का कहना है कि बरसात के कारण कार्य नहीं हो रहा है। बाईपास बनाने के लिए कोई अलग से धन नहीं मिला है।
http://www.jagran.com/uttar-pradesh/sidharth-nagar-10493040.html

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